📍 मेला तिथि: 9-17 अप्रैल, 2024
📍 स्थान: राजस्थान के सीकर जिले में स्थित शक्तिपीठ जीणमाता
लक्खीमेला 2024 का स्वागत
राजस्थान के सीकर जिले में स्थित शक्तिपीठ जीणमाता का चैत्र नवरात्रि वार्षिक लक्खी मेला 9 से 17 अप्रैल, 2024 तक आयोजित किया जाएगा। इस साल इस धार्मिक महापर्व में एक नई सुविधा जोड़ी गई है—‘रोप-वे’। यह 500 मीटर लंबा रोप-वे जीण माता मंदिर से पहाड़ी पर स्थित काजल शिखर माता मंदिर तक जाता है, जिससे दर्शनार्थियों को यात्रा के दौरान एक अद्वितीय दृश्य अनुभव होगा।
शक्तिपीठ के बारे में
🔈 जीण माताजी मंदिर रेवासा गांव से 10 किलोमीटर दूर, एक घने जंगल में स्थित है। यह प्राचीन शक्तिपीठ 8वीं सदी में निर्मित माना जाता है और इसे दक्षिणमुखी माना जाता है।
🔈 मंदिर की दीवारों पर तांत्रिक मूर्तियाँ लगी हैं, जो इस बात की ओर संकेत करती हैं कि यह स्थल पहले तांत्रिक साधना का केंद्र रहा होगा।
🔈 मंदिर के अंदर जीण भगवंती की अष्टभुजी प्रतिमा स्थापित है और पहाड़ के नीचे स्थित मंडप को गुफा कहा जाता है। यहाँ आठ शिलालेख भी स्थापित हैं, जिनमें सबसे पुराना शिलालेख संवत 1029 का है।
🔈 मान्यताओं के अनुसार, जीण माता (जन्म नाम: जीवण) ने राजस्थान के चूरू जिले के घांघू गांव के एक राजघराने में जन्म लिया था।
रोप-वे सुविधा
इस साल लक्खीमेले के दौरान दर्शनार्थियों के लिए ‘रोप-वे’ सुविधा शुरू की गई है, जो जीण माता मंदिर को काजल शिखर माता मंदिर से जोड़ता है। यह यात्रा अनुभव को और भी स्मरणीय बना देगा।
मेला की विशेषताएँ:
- तिथियाँ: 9-17 अप्रैल, 2024
- स्थल: जीणमाता मंदिर, सीकर, राजस्थान
- विशेष सुविधा: 500 मीटर लंबा रोप-वे
इस अवसर पर, इस प्राचीन और पवित्र स्थल के दर्शन करने के लिए श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ेगी, और रोप-वे सुविधा यात्रा को और भी सहज और रोमांचक बना देगी।

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